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उत्तर- अर्जुन ने शिख, ं डी को आगे करके उसकी आड़ लेकर भीष्म पर बाण बरसाए। शिख, ं डी भी महारथी था।, उसने भी बाणों से पितामह का वक्ष-स्थल बींध दिया था। पितामह ने शिख, ं डी के बाणों का प्रत्युत्तर नहीं दिया।, मृत्यु को निकट आई समझ भीष्म ढाल-तलवार लेकर रथ से उतरना चाहते थे कि वे गिर पड़े। उनके शरीर में, इतने अधिक बाण थे कि उनका शरीर भूमि से नहीं लगा। इस स्थिति को ही शर-शैय्या कहते हैं।, प्रश्न 2. शर-शय्या पर पड़े भीष्म ने कर्ण से क्या कहा?, उत्तर-"बेटा, तुम राधा के पुत्र नहीं, क, ं ु ती के पुत्र हो। सूर्यपुत्र। शूरता में तुम कृष्ण और अर्जुन की बराबरी कर, सकते हो। तुम पांडवों में ज्येष्ठ हो। इस कारण तुम्हारा कर्तव्य है कि तुम उनसे मित्रता कर लो। मेरी यही इच्छा है, कि युद्ध में मेरे सेनापतित्व के साथ ही पांडवों के प्रति तुम्हारे वैरभाव का भी आज ही अ, ं त हो जाए।", प्रश्न 3. ग्यारहवें दिन के युद्ध में दुर्योधन ने द्रोणाचार्य से क्या अनुरोध किया?, उत्तर - ग्यारहवें दिन के युद्ध में दुर्योधन आचार्य के पास जाकर बोला-"आचार्य! किसी भी उपाय से आप, युधिष्ठिर को जीवित ही पकड़ कर हमारे हवाले कर सके तो बड़ा ही उत्तम हो!", प्रश्न 4. दुर्योधन युधिष्ठिर को जीवित क्यों पकड़ना चाहता था?, उत्तर-दुर्योधन युधिष्ठिर को जीवित इसलिए पकड़ना चाहता था ताकि युद्ध जल्दी समाप्त हो जाए। वह यह भी, सोच रहा था कि युधिष्ठिर को थोड़ा-सा राज्य का भाग दे कर संधि कर ली जाए और कुछ समय के बाद जुआ, खेलकर राज्य का वह भाग वापस अपने कब्जे में कर लिया जाए।, प्रश्न 5. क्या युधिष्ठिर जीवित पकड़े गए?, उत्तर- नहीं। कौरवों द्वारा युधिष्ठिर को जीवित नहीं पकड़ा जा सका। अर्जुन ने युद्ध भूमि में बाणों की ऐसी, वर्षा की कि कौरव उस दिन बुरी तरह हारे।, , 33. बारहवां दिन, चेष्टा- प्रयास। विलीन- छिपना। तहस नहस करना- नष्ट करना।, प्रश्न 1. बारहवें दिन के युद्ध की उल्लेखनीय घटनाएं क्या रहीं?, उत्तर- बारहवें दिन की उल्लेखनीय घटनाएं दो रहीं 1. द्रोणाचार्य युधिष्ठिर को पकड़ने में असफल रहे।, 2 भगदत्त अर्जुन के द्वारा मारे गए।, प्रश्न 2 . कौरवों ने अर्जुन को युद्ध क्षेत्र से दूर ले जाने का निर्णय क्यों किया?, उत्तर- ताकि युधिष्ठिर को बंदी बना सके।, प्रश्न 3. शकुनि के दो भाई कौन थे?, उत्तर- वृषक और अचक।, प्रश्न 4. शकुनि के भाइयों को किसने मारा?, उत्तर- अर्जुन।, , 34. अभिमन्यु, अनुकरण- पीछे पीछे चलना। ताड़ लेना- जान लेना। सैंधव- सिंधु दे श का रहने वाला।, प्रश्न 1. 13वें दिन युद्ध में चक्रव्यूह किसने रचा?, उत्तर- द्रोण।, प्रश्न 2. चक्रव्यूह में सर्वप्रथम प्रवेश किसने किया?, उत्तर- अभिमन्यु, प्रश्न 3. अभिमन्यु की मृत्यु किसके हाथों हुई?, उत्तर- दु:शासन के पुत्र के हाथों।, प्रश्न 4. अभिमन्यु की मृत्यु के बाद अर्जुन ने क्या प्रतिज्ञा की?
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प्रश्न 2. पांडवों के विनाश की प्रतिज्ञा किसने की?, उत्तर- अश्वत्थामा।, प्रश्न 3. अश्वत्थामा ने पांडवों को कैसे मारा?, उत्तर- अश्वत्थामा ने रात के समय सोते हुए पांडवों को छल से मारा। धृष्टद्युम्न व द्रोपदी के पांच पुत्रों को तो, उसने पैरों से कुचल डाला। इसके बाद पांडव शिविर को ही आग लगा दी। इस कार्य में उसके साथ कृपाचार्य, और कृतवर्मा भी थे।, प्रश्न 4. उत्तरा ने किसे जन्म दिया?, उत्तर- अभिमन्यु के पुत्र परीक्षित को।, , 39. यु धिष्ठिर की वे दना, क्षुब्ध- क्रोधित। शोकोद्वे ग- दुख की अधिकता। दुष्कर- कठिन। ढिठाई- धृष्टता। मर्म- रहस्य। काल कलवित, होना- मृत्यु को प्राप्त होना।, प्रश्न 1. श्री कृष्ण ने धृतराष्ट्र के समक्ष एक लोहे मूर्ति क्यों खड़ी की?, उत्तर- क्योंकि उस समय धृतराष्ट्र बहुत क्रोधित थे जो भी उनके समक्ष जाता, वे उसे मार दे त।े, प्रश्न 2. धृतराष्ट्र ने लौह मूर्ति का क्या किया?, उत्तर- उसे भीम समझ कर चकनाचूर कर डाला।, प्रश्न 3. शासन सूत्र ग्रहण करने से पूर्व युधिष्ठिर युद्ध भूमि क्यों गए?, उत्तर- शासन सूत्र ग्रहण करने से पूर्व युधिष्ठिर युद्ध भूमि में शर- शैया पर पड़े भीष्म पितामह से आशीर्वाद लेने, गए।, प्रश्न 4. शोक मग्न युधिष्ठिर ने क्या निर्णय लिया?, उत्तर- वन में जाने का।, , 40. पांडवों का धृतराष्ट्र के प्रति व्यवहार, एकछत्र- अकेले। अमिट- कभी न मिटने वाली। खिन्न- दुखी। विराग- उदासीन।, प्रश्न 1. धृतराष्ट्र ने युधिष्ठिर से क्या अनुमति मांगी?, उत्तर- वल्कल वस्त्र धारण कर वन गमन करने की।, प्रश्न 2. युधिष्ठिर ने धृतराष्ट्र के अनुमति मांगने पर क्या कहा?, उत्तर- धृतराष्ट्र ने कहा कि आप तो राज्य के स्वामी हैं। आपका ही पुत्र युयत्स, ु ु राज गद्दी पर बैठे या जिसे आप, चाहे राजा बना दे अथवा शासन की बागडोर स्वयं अपने हाथों में ले ले और प्रजा का पालन करें। मैं वन में, चला जाऊ, ं गा। राजा मैं नहीं बल्कि आप ही है। मैं ऐसी हालत में आपको अनुमति कैसे दे सकता हूं।", प्रश्न 3. वन गमन के समय धृतराष्ट्र के साथ कौन कौन थे?, उत्तर- गांधारी, क, ं ु ती और संजय।, , 41. श्री कृष्ण और यु धिष्ठिर, , प्रश्न 1. महाभारत युद्ध के बाद श्री कृष्ण ने कितने दिन तक राज्य किया?, उत्तर- महाभारत के युद्ध की समाप्ति के बाद श्री कृष्ण 36 वर्ष तक द्वारका में राज्य करते रहे।, प्रश्न 2. बलराम की मृत्यु कैसे हुई?, उत्तर- वंश नाश दे खकर बलराम को असीम शोक होगा और उन्होंने समाधि में बैठकर शरीर त्याग दिया।, प्रश्न 3. श्रीकृष्ण की मृत्यु कैसे हुई?, उत्तर- वंश के नाश के विषय में विचारते हुए श्री कृष्ण सागर तट पर घूम रहे थे। विचार मग्न श्री कृष्ण वही एक, वृक्ष के नीचे जमीन पर लेट गए। किसी शिकारी ने लेटे हुए श्री कृष्ण को मृत समझकर तीर चला दिया। तीर, तलवे को छेदता हुआ शरीर में धंस गया और उसने श्री कृष्ण के प्राण ले लिए।, प्रश्न 4. श्री कृष्ण के दे हावसान के बाद पांडवों ने क्या किया, उत्तर- श्रीकृष्ण की मृत्यु का समाचार पाकर पांडव बहुत दुखी हुए उनके मन में संसार के प्रति वैराग्य उत्पन्न हो, गया। वह अपने पुत्र परीक्षित को राज्य सौंप कर द्रौपदी सहित तीर्थ यात्रा को निकल गए और अ, ं त में, हिमालय की ओर चले गए।