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सुप्रसिद्ध भूगोलवेत्ता हंटिंगटन अपनी पुस्तक Principles of Economic, की जाती है । इसमें परिवहन का भी अध्ययन किया जाता है जो भौतिक परिस्थितियों से, र्थिक भूगोल की कुछ परिभाषायें (Definitions of economic geography), प्रो. रडमस ब्राउन के अनुसार- "आर्थि भूगोल भूगोल-शास्त्र की वह शाखाहै, समें मानव की आर्थिक क्रियाओं पर पड़ने वाले वातावरण के प्रभावों का अध्ययन किया, ता है।", प्रो: जी. चिशौम के अुनसार-"आर्थिक भूगोल के अन्तर्गत हम उन भौगोलिक, रेस्थितियों का अध्ययन करते हैं जो वस्तुओं के उत्पादन, परिवहन तथा विनिमय को, गावित करती हैं । इसके अध्ययन का प्रमुख उद्देश्य किसी क्षेत्र की आगामी आर्थिक तथा, पारिक क्रियाओं पर पड़ने वाले भौगोलिक प्रभाव का अध्ययन है ।", . प्रो. गिगोर के अनुसार- "आर्थिक भूगोल में हम इस बात का अध्ययन करते हैं।, 5 मानव अपनी प्राकृतिक परिस्थितियों की भिन्नता के साथ विभिन्न स्थानों पर किस, कार सन्तुलन करता है।", प्रो. मैकफरलेन ने अपनी पुस्तक Economic Geography में आर्थिक भूगोल, े परिभाषा देते हुये लिखा है कि 'आर्थिक भूगोल के अन्तर्गत मनुष्य के आर्थिक प्रयत्नों, र भौगोलिक तथा भौतिक परिस्थितियों, विशेष रूप से भूगर्भिक संरचना, जलवायु तथा, पूमि तंथा भूमि की धरातलीय विशेषताओं के प्रभाव का अध्ययन करते है ।, मेयर तथा स्ट्रीटैलमीर के मत में, आर्थिक भूगोल की रूचि इस बात के अध्ययन, में है कि मानव जीविकोपार्जन के लिये कौन-सी आर्थिक क्रियाएँ कहाँ करता है तथा मानव, नूमि के द्वारा आर्थिक-शोषण से किस प्रकार प्रवास तथा रचना का प्रारूप बनाता है।, डॉ. एन. जी. पाउण्डस के अनुसार- "आर्थिक भूगोल भू- पृष्ठ पर मानव की, उत्पादक क्रियाओं के वितरण का अध्ययन करता है । यह क्रियाएँ प्राथमिक, गौण तथा, तृतीयक होती हैं ।", प्रो. शॉ के अनुसार- "किस प्रकार मानवीय आर्थिक क्रियाएँ विश्व के उद्योगों,, संसाधनों तथा औद्योगिक उत्पादनों के अनुरूप होती हैं यही आर्थिक भूगोल के अध्ययन, का विषय है।", 5., 7., प्रो. बुकानन के अनुसार-"इसमें मानव के आर्थिक प्रयत्नों का उसके निवास, र्थान के सम्बन्ध में अध्ययन करते है ।", प्रो. रैयन तथा बैगस्टन के शब्दों में- " आर्थिक भूगोल के अन्तर्गत संसार के, भिन्न-भिन्न भागों में पाये जाने वाले आधारभूत प्राकृतिक स्रोतों का अध्ययन किया जाता, है। इसमें स्रोतों के शोषण पर पड़नेवाले भौतिक परिस्थितियोंके प्रभाव की भी विवेचना का, जाती है। विभिन्न प्रदेशों में पायेजाने वाले आर्थिक विकास के अन्तर की व्याख्या भा २, ৪., १., प्रभावित होता है।", 10., Geography में लिखते हैं कि- "उन सब प्रकार के भौतिक साधनों क्रियाओं, रीति-रिवाजा, तथा मानव शक्तियों का विवरण आर्थिक भूगोल की सीमा के अन्तर्गत आता है जो आजीविका